प्रसिद्ध लोक गायिका शारदा सिन्हा का निधन, 2018 में किया गया था पद्मभूषण से सम्मानित


लोक गायिका पद्म श्री और पद्म भूषण से सम्मानित शारदा सिन्हा अब इस दुनिया में नहीं रही। छठ पूजा के पहले ही दिन यानी पांच अक्टूबर को उनका निधन हो गया। बीते दिन रात 9:20 बजे के करीब उन्होंने दिल्ली के एम्स अस्पताल में अंतिम सांस ली। बता दें कि वो रिफ्रैक्टरी शॉक के कारण सेप्टीसीमिया से जूझ रही थी। आज सुबह पांच बजे के करीब उनका पार्थिव शरीर दिल्ली लाया गया। जिसके बाद बिहार में उनका अतिंम संस्कार किया जाएगा।

सिंगर शारदा सिन्हा का पटना में होगा अंतिम संस्कार
26 अक्टूबर को तबीयत बिगड़ने पर शारदा सिन्हा को एम्स के कैंसर सेंटर में एडमिट करवाया गया था। जिसके बाद चार नवंबर को उनकी हालत अचानक से बिगड़ने लगी। जिसके चलते उन्हें वेंटिलेटर सपोर्ट पर रखना पड़ा।
बता दें कि हाल ही में उनके पति बृज किशोर सिन्हा का भी निधन हुआ था। जिसके बाद से वो काफी सदमे में थीं। राजकीय सम्मान के साथ पटना में गुरुवार को उनका अतिंम संस्कार किया जाएगा।
बेटे ने भावुक पोस्ट किया शेयर
शारदा सिन्हा के निधन की जानकारी उनके बेटे ने दी। बेटे अंशुमान ने बीते दिन एक भावुक पोस्ट शेयर किया। जिसमें उन्होंने लिखा, “आप सब की प्रार्थना और प्यार हमेशा मां के साथ रहेंगे। मां को छठी मईया ने अपने पास बुला लिया है। मां अब शारीरिक रूप से हमारे बीच नहीं रहीं।”
बिहार की कोकिला थी शारदा सिन्हा
शारदा सिन्हा को बिहार की कोकिला भी कहा जाता है। फेमस भारतीय लोक गायिका ने भोजपुरी, मगही मैथिली संगीत में काफी योगदान दिया है। बिहार के पारंपरिक संगीत को फेमस करने में उनका बहुत बड़ा हाथ है। उनके कई गाने मशहूर है। जिसमें ‘काहे तो से सजना’ और ‘पहले पहल हम कई’ शामिल हैं। भारतीय संगीत और संस्कृति में उनके योगदान को देखते हुए साल 2018 में उन्हें पद्म भूषण से सम्मानित किया गया था









